- देश में कोरोना वायरस के कारण लॉकडाउन लागू
- महाराष्ट्र कोरोना के कारण सबसे ज्यादा प्रभावित
- उद्धव ने बताया राज्य में लॉकडाउन खोलने का प्लान
कोरोना वायरस के कारण देश में महाराष्ट्र सबसे ज्यादा प्रभावित है. महाराष्ट्र में 65 हजार से ज्यादा कोरोना संक्रमित मरीजों की पुष्टि हो चुकी है. वहीं ये आंकड़ा लगातार बढ़ता ही जा रहा है. इस बीच महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे का कहना है कि हम लॉकडाउन को धीरे-धीरे खोल रहे हैं और कुछ समय के लिए हमें कोरोना के साथ जीना सीखना होगा.
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महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे का कहना है कि हम मिशन बिगिन अगेन के साथ अपनी जिंदगी को फिर से शुरू कर रहे हैं. जैसे-जैसे मानसून आगे बढ़ेगा, हमें और सावधानी से चलना होगा. मानसून के कारण चक्रवात की आशंका बनी हुई है. हालांकि मैं आशावादी हूं कि यह हमारे तटों से नहीं टकराएगा, लेकिन फिर भी हमें सावधान रहना होगा.
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लॉकडाउन को लेकर उद्धव ठाकरे ने कहा कि केंद्र सरकार ने दिशानिर्देश जारी किए हैं. याद रखें कि मास्क का इस्तेमाल करें और हर बार हाथ धोएं. हमें कुछ समय के लिए इसके साथ जीना सीखना होगा. हम राज्य में धीरे-धीरे चीजों को खोल रहे हैं.
सीएम ठाकरे ने कहा कि कुछ देशों ने लॉकडाउन नहीं किया, कुछ ने लॉकडाउन खोल दिया लेकिन हमने देखा कि वहां क्या हुआ था. हम जल्दबाजी में कुछ नहीं करना चाहते हैं. तीन जून के बाद हम धीरे-धीरे कदम उठाएंगे. हम लोगों को सुबह की सैर और आउटडोर एक्सरसाइज की अनुमति दे रहे हैं लेकिन भीड़ या सार्वजनिक कामों की इजाजत नहीं है. लोगों को सोशल डिस्टेंसिंग बनाए रखनी होगी.
दुकानों को दी है इजाजत
ठाकरे ने बताया कि 5 जून से छोटे और बड़े शहरों में सड़कों के दोनों ओर वैकल्पिक रूप से दुकानें खोल रहे हैं. 8 जून से ऑफिस खोल रहे हैं. अगर हम नियमों का पालन करते हैं तो कोरोना कम होने लगेगा. 55 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों और मेडिकल कंडिशन वाले लोगों को विशेष रूप से ध्यान रखना चाहिए.
उद्धव ठाकरे ने कहा कि राष्ट्रपति शासन की मांग करने वाले और जो ये कह रहे हैं कि महाराष्ट्र सरकार कुछ भी नहीं कर रही है, उन्हें राज्य में कोरोना के आंकड़ों को देखना चाहिए. जब तक जनता हमारे साथ हैं, कोई भी इस सरकार को नहीं गिरा सकता. वहीं अगले रविवार से हम समाचार पत्रों की होम डिलीवरी भी शुरू कर रहे हैं.
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ठाकरे ने बताया कि हमारे पास 2.5 लाख से ज्यादा आइसोलेशन बेड हैं जिनमें से 25 हजार के साथ ऑक्सीजन की सुविधा है. हम इस संख्या को और बढ़ा रहे हैं. हमारे पास 250 आईसीयू बेड थे, जो हमने बढ़ाकर 8500 कर दिए हैं. फील्ड अस्पतालों की संख्या बढ़ा रहे हैं. हम मृत्यु दर को और नीचे शून्य पर लाना चाहते हैं.
शिक्षा शुरू करने के बारे में चिंतित
सीएम ठाकरे ने कहा कि हमने 16 लाख प्रवासी मजदूरों को उनके राज्यों में भेज दिया है. पीयूष गोयल को धन्यवाद देना चाहता हूं. मैंने कई यूनिवर्सिटी के चांसलर के साथ मीटिंग की. उनमें से ज्यादातर लोगों की राय थी कि लास्ट ईयर की परीक्षा आयोजित करने के लिए अभी हालात ठीक नहीं हैं.
ठाकरे ने बताया कि अब हमने तय किया है कि हम पहले के सेमेस्टर के आधार पर अंतिम अंक प्रदान करेंगे. हम छात्रों को इंतजार नहीं करा सकते. हम उनका भविष्य नहीं बिगाड़ सकते. अगर किसी को लगता है कि वो परीक्षा में बेहतर स्कोर कर सकते थे तो उन्हें अक्टूबर में फिर से परीक्षा में बैठने की अनुमति दी जाएगी.
ठाकरे ने कहा कि अगला महत्वपूर्ण मुद्दा स्कूलों को खोलने के बारे में है. मैं स्कूलों को शुरू करने की तुलना में शिक्षा शुरू करने के बारे में अधिक चिंतित हूं. हम मोबाइल फोन और डेटा कनेक्टिविटी के माध्यम से ई-लर्निंग को लागू करने पर विचार कर रहे हैं.