Friday, November 8, 2024
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काले धन के खिलाफ इनकम टैक्स विभाग की मुहिम, दुबई में संपत्ति रखने वाले 2000 लोगों की पहचान – It crackdown on black money 2000 indians owning properties in dubai identified

  • काले धन के खिलाफ इनकम टैक्स की बड़ी कार्रवाई
  • काले धन रखने के लिए लोगों की पसंद बनी दुबई

आयकर विभाग के आपराधिक जांच प्रकोष्ठ ने 2000 भारतीय नागरिकों की पहचान की है जिनके पास दुबई में संपत्तियां हैं लेकिन उन्होंने अपने आईटी रिटर्न में इसे घोषित नहीं किया. काले धन के खिलाफ जारी मुहिम के तहत एजेंसी ने ये कदम उठाया है.

एजेंसी की जानकारी के मुताबिक कुछ लोगों ने हाल फिलहाल के वर्षों में विदेश में संपत्तियां खरीदीं और शेल कंपनियों को ट्रांसफर कीं. ये सब गलत तरीके से कमाए पैसे को छुपाने, रखने और आयकर बचाने के मकसद से किया गया.

बड़े पैमाने पर टैक्स चोरी करने और काला धन विदेश में खपाने वालों के खिलाफ आयकर विभाग ने कमर कसी हुई है. काले धन को खपाने के लिए दुबई सबसे नजदीक और पसंदीदा जगह बना हुआ है. जिन 2000 लोगों और कंपनियों की पहचान की गई हैं उनमें कई कारोबारी, टॉप प्रोफेशनल्स और सरकारी अधिकारी भी शामिल हैं.

आयकर विभाग ब्लैक मनी एक्ट के तहत आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई शुरू करेगा. ऐसे लोग जिनके पास विदेश में संपत्ति है लेकिन उन्होंने उसे घोषित नहीं किया और जो संपत्ति खरीदने के लिए इस्तेमाल किए गए पैसे का स्रोत बताने में नाकाम रहे तो ब्लैक मनी एक्ट के तहत उन पर अभियोग चलाया जाएगा. आयकर कानून के सेक्शन FA (विदेशी संपत्ति) के मुताबिक सालाना आईटी रिटर्न भरते वक्त देश के बाहर खरीदी गई संपत्तियों, संसाधनों और कंपनियों की जानकारी देना जरूरी होता है.

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ब्लैक मनी के तहत भुगतना पड़ सकता है कारावास

दुबई में संपत्ति रखने वाले 2000 लोगों में से करीब 600 ने आय के स्रोत या खरीद के वक्त भुगतान को लेकर अन्य संबंधित कागजात की जानकारी नहीं दी. ऐसे लोगों पर अभियोग चलाने के साथ इनकी संपत्ति जब्त की जा सकती है. इसके अलावा उन से संपत्ति के मूल्य के 300% तक की पेनल्टी वसूली जा सकती है साथ ही ब्लैक मनी एक्ट के तहत कारावास भी भुगतना पड़ेगा.

दुबई में संपत्ति खरीदने के रूट को मनी लॉन्डरर्स, स्मगलर, अंडरवर्ल्ड गैंगस्टर्स और नशीले पदार्थों के कारोबारी भी करते रहे हैं. जिन 2000 लोगों की पहचान की गई हैं उनमें सबसे ज्यादा मुंबई के हैं. इसके बाद केरल और गुजरात का नंबर आता है. बता दें कि सेक्शन FA (विदेशी संपत्ति) वर्ष 2011-12 में शुरू किया गया. तभी से विदेश में खरीदी गई संपत्ति को आईटी रिटर्न में घोषित करना अनिवार्य है.

FEMA के तहत ED करेगा कार्रवाई

जिन लोगों की आयकर विभाग ने पहचान की है उन पर विदेशी मुद्रा प्रबंधन एक्ट (FEMA) के तहत प्रवर्तन निदेशालय (ED) भी कार्रवाई करेगा. हाल में ED ने विदेश में काला धन रखने वालों के खिलाफ मुहिम शुरू की है. इसके तहत भारतीय नागरिकों की ओर से गैर कानूनी तरीके से खरीदी गई अचल संपत्तियों की पहचान की जा रही है. फेमा एक्ट के सेक्शन 4 के तहत भारत में रहने वाला कोई भी नागरिक भारत के बाहर विदेशी मुद्रा, विदेशी प्रतिभूति या कोई अचल संपत्ति ना तो रख सकता है और ना ही उसे ट्रांसफर कर सकता है.

BMC के चीफ इंजीनियर के घर पर पड़ा था छापा

बता दें कि इस साल 17 जनवरी को ED ने बीएमसी के पूर्व चीफ इंजीनियर के घर पर फेमा से जुड़े केस में तलाशी ली थी. इस तलाशी के दौरान ED अधिकारियों ने दुबई में कथित तौर पर गैर कानूनी ढंग से खरीदी गई संपत्ति से जुड़े कागजात जब्त किए गए थे. ये पूर्व चीफ इंजीनियर बीएमसी के बिल्डिंग प्रस्ताव विभाग और विकास प्लान विभाग जैसे अहम जगहों पर तैनात रह चुका था.

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एजेंसी ने पूर्व चीफ इंजीनियर की पहचान नहीं खोली लेकिन बताया जा रहा है कि करीब 7 वर्ष पहले वो बीएमसी से सेवानिवृत्त हुआ था. बताया जाता है कि पूर्व चीफ इंजीनियर ने दुबई के पार्क आईलैंड, बोनेयर मार्सा में 89 वर्ग मीटर की संपत्ति 2012 में 70 लाख रुपए में खरीदी. लेकिन इस संपत्ति को खरीदने के लिए इस्तेमाल की गई रकम कहां से आई, चीफ इंजीनियर इसकी जानकारी नहीं दे सका.

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