भोपाल। मध्य प्रदेश में कई स्थानों पर आतंकी संगठनों से जुड़े कट्टरपंथी मिले हैं। कई शहरों से धर्मांतरण और लव जिहाद की खबरें सामने आई हैं। इस बीच, मध्य प्रदेश के एक आईएएस जो खुद मुस्लिम धर्म से आते हैं, उन्होंने नागरिकों को सलाह दी है। सलाह देने वाले आईएएस का नाम नियाज खान है। नियाज ने ट्वीट करके मुस्लिमों से अपील की है कि मुस्लिम भाई भी गौ रक्षक बनें, धर्म परिवर्तन का विरोध करें, किसी का धर्म न बदलवाएं। आईएएस ने आगे लिखा कि जबरन धर्म बदलवाना इस्लाम में प्रतिबंधित है। अगर शाकाहार अपना सकें तो यह एक बेहतरीन प्रयास होगा। नियाज ने यह भी लिखा है कि यद्यपि शाकाहारी बनने को बाध्य नही किया जा सकता। लेकिन आखिरी में लिखी गई लाइन में नियाज ने हर मुस्लिम को ब्राह्मणों से मधुर संबंध रखने की सलाह भी दी है।
दरअसल, पिछले दिनों दमोह जिले के गंगा जमुना स्कूल में हिन्दू छात्राओं को हिजाब पहने पोस्टर वायरल हुआ था। जब मामले की जांच हुई तो पता चला कि स्कूल की तीन महिला शिक्षकों ने अपना धर्म बदलकर मुस्लिम धर्म स्वीकार लिया है। वहीं, भोपाल में नर्सिंग की एक छात्रा और मुस्लिम युवक का निकाह भी चर्चा में है। नियाज का ट्वीट इन सभी मामलों से जोड़कर देखा जा रहा है।
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आईएएस नियाज खान को जानें
नियाज खान मध्य प्रदेश राज्य प्रशासनिक सेवा के अधिकारी थे। साल 2015 में उन्हें आईएएस प्रमोट किया गया। वे साहित्यिक मिजाज के अफसरों में गिने जाते हैं। वे पहली बार गैंगस्टर अबू सलेम पर किताब लिखकर चर्चा में आए थे। इसके बाद साल 2022 में कश्मीर फाइल्स मूवी के विरोध में की गई टिप्प्णी के चलते घिर गए थे। तब गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने उन पर कार्रवाई करने की बात भी कही थी। नियाज अब तक 8 किताब लिख चुके हैं।
पुस्तक लिखकर चर्चा में आए थे
नियाज का नया उपन्यास ‘ब्राम्हण द ग्रेड’ काफी चर्चा में रहा था। अपने उपन्यास में उन्होंने तर्क और उदाहरणों के साथ बताया कि ब्राम्हण महान प्रजाति है, उनकी बैद्धिक क्षमता अन्य लोगों से अधिक होती है। नियाज ने लिखा है कि ब्राह्मणों ने इस देश के लिए बहुत कुछ हुआ है। उनका आईक्यू जबरदस्त है। मैंने कई वेद और पुराण का अध्ययन किया है। इसके बाद मैं यह किताब लिखा हूं। ब्राह्मणों का इतिहास गौरवान्वित करने वाला है। ब्राह्मण समाज का शानदार 3000 हजार साल का इतिहास रहा है। इसके बाद ही मैंने ब्राह्मणों के इतिहास पर किताब लिखने का फैसला किया है। नियाज खान ने कहा कि मैंने होली वेदास पढ़े थे। पिछले दिनों नियाज खान ने अपने सोशल मीडिया के बायो में से ‘IAS’शब्द हटा लिया है। नियाज ने मीडिया से भी अपील की है कि वे आईएएस के बजाय लेखक का इस्तेमाल करें। उन्होंने ये साफ कर दिया कि, अब कभी भी वो इस शब्द का इस्तेमाल दोबारा से नहीं करेंगे। उन्होंने कहा कि, आईएएस होना मेरी रोजी – रोटी का एक जरिया मात्र है।