Kim Jong Un Train special Feature: किम जोंग उन की कई पहचान है. दुनिया उन्हें तानाशाह, सनकी, लिटिल रॉकेट मैन के नाम से जानती और पुकारती है. दरअसल इसके पीछे की वजह भी खास है. वो किसी को मरवा सकते हैं, जब मन करे मिसाइल टेस्ट कराते हैं. बेटी के नाम पर कोई और नाम ना रखे उसके लिए हुक्म जारी करते हैं. लेकिन इस समय चर्चा इन वजहों से नहीं बल्कि ट्रेन के जरिए (kim jomg un train russia) रूस जाने की वजह से है. वो राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से मिलने वाले हैं. अबवाल यह कि जब उनके पास प्लेन है तो ट्रेन के जरिए रूस जाने का फैसला क्यों किया.
किम जोंग उन भले ही अपने आपको खतरनाक शख्स के रूप में पेश करें उन्हें प्लेन से डर लगता है. लिहाजा जब कभी वो कोरिया से बाहर निकलते हैं तो ट्रेन की सफर करना पसंद करते हैं. वियतनाम. सिंगापुर उदाहरण हैं. अब जब वो ट्रेन से सफर कर रहे हैं तो वो कोई सामान्य रेलगाड़ी नहीं है. दरअसल जिस ट्रेन की हम बात कर रहे हैं वो उनके पिता किम जोंग(kim jong il) से विरासत में मिली है. यहां पर उस ट्रेन की खासियत के बारे में बात करेंगे.
किम जोंग उन के ट्रेन की खासियत
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ट्रेन की औसत स्पीड 37 मील प्रति घंटे है.
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ट्रेन, कांफ्रेंस रूम, सैटेलाइट फोन, फ्लैटस्क्रीन टीवी से लैस है.
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करीब 100 सेक्यूरिटी एजेंट्स तैनात रहेंगे जिनका काम रास्ते और आने वाले स्टेशनों के बारे में जानकारी हासिल करनी होती है.
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सेक्यूरिटी एजेंट्स इस बात को भी सुनिश्चित करते हैं कि रास्ते में बम के हमले या दूसरे खतरों को टाला जा सके.
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ट्रेन पूरी तरह से बुलेटप्रूफ(bulletproof train) है इस पर किसी हथियार का असर नहीं पड़ेगा.
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ट्रेन में जिंदा समुद्री जीवों के लिए अलग कंपार्टमेंट
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ट्रेन में खूबसूरत महिला कंडक्टर (women conductor)
ट्रेन में एक्सपर्ट शेफ
ट्रेन में कांटिनेंटल फूड के एक्सपर्ट यानी शेफ रहते हैं जो कोरियन, जापानी, चीनी और फ्रेंच डिश बनाते हैं. सबसे बड़ी बात है कि उस ट्रेन में जिंदा समुद्री जीवों को भी ले जाया जाता है. रूसी अधिकारी कांस्टेटिन पुलिकोवस्की उनके पिता किम जोंग इल के बारे में बताते हैं कि एक बार उन्हें रूसी डिश परोसी गई लेकिन उनकी नजर में सिर्फ और सिर्फ कमियां दिखाई दी. किम जोंग इल ने एक पीस को उठा कर कहा कि यह पेल्मेनी खराब है, इसे आप और अधिक उबाल सकते थे.ट्रेन में नजाकत के साथ पेश आने वाली लेडी कंडक्टर रखी गई हैं.उन्हें खूबसूरत लेडी कंडक्टर के नाम से जाना जाता है. ट्रेन की हिफाजत के लिए आगे आगे एक ट्रेन चलती है. बताया जा रहा है कि वो रविवार तक व्लाडिवोस्तक पहुंच सकते हैं. जहां से आगे पीयर 33 और मॉस्को की भी यात्रा कर सकते हैं.
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