Monday, December 23, 2024
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DTU में ऑनलाइन एग्जाम के लिए ली जाएगी आर्टिफिश‍ियल इंटेलिजेंस की मदद – dtu online exam will be done with the help of artificial intelligence not be able to cheat tedu

कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप के कारण देश भर में 17 मई तक लॉकडाउन है. ऐसे में विश्वविद्यालयों की परीक्षा भी अधर में लटक गई हैं. इस समस्या को देखते हुए दिल्ली टेक्निकल यूनिवर्सिटी अब हॉवर्ड यूनिवर्सिटी की तर्ज पर आर्टिफिश‍ियल इंटेलिजेंस की मदद से ऑनलाइन एग्जाम लेने की तैयारी कर रही है.

DTU की ओर से जारी सूचना के अनुसार ये ऑनलाइन परीक्षा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) पर आधारित प्रॉक्टोरिंग से होगी. ये अपने आप में एकदम नया प्रयोग है, अभी तक किसी विश्वविद्यालय ने इस प्रणाली से परीक्षा आयोजित नहीं की है. इस तरह से परीक्षा में नकल की गुंजाइश बिल्कुल नहीं रहती है, क्योंकि सॉफ्टवेयर से चल रही ऑनलाइन परीक्षा के दौरान कंप्यूटर की तीसरी आंख छात्र की हर हरकत पर नजर रखती है. इसमें दो बार छात्र को चेतावनी मिलती है और तीसरी बार सीधे परीक्षा से बाहर कर दिया जाता है.

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डीटीयू में बीटेक फाइनल ईयर की दो घंटे की ऑनलाइन परीक्षा तीन मोड सब्जेक्टिव, मल्टीप्ल च्वाइस और केस स्टडी विद प्रेजेंटेशन पर आधारित होगी. इसके लिए बाकायदा प्रॉक्टोरिंग सॉफ्टवेयर बनाने वाली कंपनियों से टेंडर मंगवाए जा रहे हैं.

वहीं डीटीयू की फैकल्टी ने परीक्षा के लिए प्रश्नपत्र बनाने शुरू कर दिए हैं. इसके अलावा विश्वविद्यालय में इस ऑनलाइन परीक्षा का डेमो भी चल रहा है. कहा जा रहा है कि विश्वविद्यालय प्रबंधन 15 मई से परीक्षा शुरू कर सकता है. इसमें बीटेक के 14 कोर्स के 1760 छात्र भाग लेंगे. अभी तक एमबीए में दाखिले के लिए आयोजित जीमैट और जीआरई परीक्षा में इस प्रणाली का प्रयोग हुआ है.

ऐसी होती है प्रोक्टोरिंग परीक्षा

प्रोक्टोरिंग एक सॉफ्टवेयर होता है, जो आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर आधारित काम करता है. बता दें कि इस प्रणाली की परीक्षा के दौरान छात्र का कंप्यूटर इस सॉफ्टवेयर से जुड़ जाता है. इसमें कंप्यूटर या लैपटॉप पर लगा कैमरा परीक्षा के दौरान पूरी निगरानी करता है जिससे नकल की गुंजाइश नहीं रहती है.

आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के कारण छात्र की आंखों और हाथों के मूवमेंट की पूरी निगरानी हो रही होती है. उदाहरण के लिए मोबाइल या किताब के प्रयोग के लिए की-बोर्ड से उंगली की दूरी कितनी है, कमरे में कोई और तो नहीं है, ये सब भी उसमें दर्ज हो जाता है.

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यह सब कैमरे की तीसरी आंख के माध्यम से सॉफ्टवेयर मॉनिटर करता है. इसी के माध्यम से जैसे ही छात्र घूमता, मुड़ता या आगे-पीछे होता है तो चेतावनी जारी होती है. दो के बाद तीसरी चेतावनी में छात्र को परीक्षा से बाहर कर दिया जाता है.

गूगल क्लासरूम और गूगल मीट से तैयारी

डीटीयू के अकेडमिक कैलेंडर के तहत आखिरी सेमेस्टर आठ मई को समाप्त हो रहा है. लॉकडाउन शुरू होने के बाद ही विश्वविद्यालय ने सभी छात्रों को गूगल क्लासरूम और गूगल मीट के माध्यम से ऑनलाइन कक्षाओं से जोड़ते हुए पूरी तैयारी करवा ली है.

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